हिसार, राजेंद्र अग्रवाल: हरियाणा हिसार के जाने माने अंतरराष्ट्रीय स्तर के कुश्ती कोच व सेवा निवृत जिला खेल अधिकारी सुभाष सोनी कोच का निधन हो गया। वे पिछले कई दिनों से बीमार चल रहे थे उनका अंतिम संस्कार हिसार बस अडड़े के शमशान घाट में किया। इस दौरान खेल जगत से अधिकारी कोच व खिलाडी अन्य गणमान्य लोग मौजूद थे। सुभाष चंद्र सोनी से प्रशिक्षण लिए खिलाडी आज अलग अलग विभागों में अधिकारी के पद पर तैनात है। इन्होंने अपने जीवन काल में सैंकडो राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय हरियाणा को दिए है। सुभाष चंद्र एक साधारण एवं आकर्षक व्यक्तित्व के स्वामी थे। अपने कुश्ती जीवन की शुरुवात 1975 से की तथा एक वर्ष के कठिन परिश्रम के स्वरुप वे 1976 में मेरठ रुलर मेरठी मे नैशनल में स्वर्ण पदक विजेता बने तथा 1976 में ही जूनियर नैशनल में प्रथम रहे। वे निरंतर बुलदियों को छुने के लिए निरतंर सदैव प्रयास रत रहे। 1977 व 1979 में आल इडिया इंटर यूनिवर्सिटी में रजत पदक विजेता रहे है। 1980 में अपने वेट 57 किलोग्राम तथा 1981 में अपने वेट 62 किलोग्राम में आल इडिया इंटर यूनिवर्सिटी में गोल्ड मैडीलिस्ट रहे। इस दौरान उन्हें कई बार राज्य में प्रथम चैपियन खिलाडी के तौर पर सम्मानित किया गया। बाद में सरकार ने सुभाष चंद्र को कुश्ती कोच पर पद सुशोभित किया था तथा जल्द उन्होंने अपनी कोच की योग्यता को साबित करके दिखाया। जिसके लिए भारत सरकार से 1990 में ट्रकी में वल्ड चैपियशिप में भारतीय कुश्ती टीम का कोच निर्धारित किया तथा 1992 मेें अतरराष्ट्रीय कोच के तौर पर अपने नेतृत्व में ट्रर्की में भारतीय टीम को लेकर गए। भारत की टीम ने इस दौरान गोल्ड मैडल व कास्य पदक हासिल किया था। वे हिसार में जिला खेल अधिकारी के पद पर कार्य कर चुके है।खेल जगत में खिलाडिय़ो कोचो व खेल अधिकारियों ने उनके निधन पर गहर शोक प्रकट किया।