होशियार सिंह की तकनीक से रुकेगी चोरियां की घटनाएं एक वर्ष की बड़ृी मेहनत से बनाया ´शटर सिक्योरिटी सिस्टम

हिसार, राजेन्द्र अग्रवाल:   न्यू जवाहर नगर निवासी इलेक्ट्रीशियन होशियार सिंह ने करीब एक वर्ष की मेहनत से ऐसी सिक्योरिटी सिस्टम डिवाईस तैयार की है। जो न केवल चोरियों को रोकेगी, बल्कि आग लगने जैसी घटनाओं पर भी काबू पाया जा सकेगा।

कोरोना काल में करीब एक वर्ष की मेहनत के बाद उन्होंने शटर सिक्योरिटी सिस्टम नामक डिवाईस तैयार की है, जो कि नाम मात्र कीमत पर दुकानोंं के शटर से कनेक्ट हो जाएगी। इसमें जैसे ही चोर दुकान या किसी भी शटर को छुएंगा, इसके साथ जुड़ा सिस्टम अलर्ट हो जाएगा। इस सिस्टम से अटैच डिवाइस/ अलार्म न केवल शोर मचाएगी, बल्कि इससे जुड़े पांच फोन नंबरों पर भी इसकी सूचना भेज देगा। फोन बंद होने की स्थिति में यह तकनीक कार्य करेगी। साथ ही कार्यालय व फैक्ट्री के खुलने व बंद होने का समय भी अपने आप दर्ज हो जाएगा।
इलेक्ट्रीशियन होशियार सिंह के अनुसार इस शटर सिक्योरिटी सिस्टम में डोर और विन्डो सेंसर एवं डोर सेंसर नामक के दो पार्ट होते हैं, जो एक दूसरे के समांतर इंस्टॉल किये जाते हैं। सेंसर का एक पार्ट दरवाजे व विन्डो में लगाया जाता है और दूसरा पार्ट उसके फ्रेम पर लगाया जाता है। जब दरवाजा व विन्डो बंद होते हैं, तो सेंसर के दोनो पार्ट जुडक़र एक सिक्योरिटी सर्किट का निर्माण करते हैं। जब सिक्योरिटी सिस्टम आर्म या एक्टिवेट होता है तब ये सेंसर पैनल से कम्यूनिकेट करके यह तय करते हैं कि एंट्री प्वाटइंट सुरक्षित है और उस परिस्थिति में अगर दरवाजा व विन्डो खुलती है तो सिक्योरिटी सर्किट टूट जाएगा। उसके तुरन्त बाद कन्ट्रोल पैनल अलार्म बजाने लगता है और अलार्म पैनल इसकी जानकारी मोनिटरिंग स्टेशन तक भेज देगा।
कैसे काम करता है शटर सिक्योरिटी सिस्टम?
इलेक्ट्रीशियन होशियार सिंह के अनुसार होम सिक्योरिटी सिस्ट्म का कार्य फैक्ट्री, कार्यालयों या घरों के एंन्ट्री प्वांइट्स को सुरक्षित रखना। इस काम के लिए इन सिस्ट्म में कई प्रकार के सेंसर होते हैं जो कन्ट्रोल पैनल के साथ कम्यूनीकेट करते हैं, जो कि घर की किसी कन्विनिएंट जगह पर इंस्टॉल किया जाता है। जिससे कन्ट्रोल पैनल सारे कंपोनेंट्स के साथ कम्यूनीकेट कर सके। ये सेंसर एंट्री डोर व विन्डो पर लगाये जाते हैं, जहां से चोरों के घुसने की संभावना होती है। घर के अन्दर की जगहों को मोशन सेंसर के द्वारा प्राटेक्ट किया जा सकता है।
ज्वैलर्स शॉप की अलार्म देख आया था आईडिया:
 इलेक्ट्रीशियन होशियार सिंह कोरोना काल से पहले एक नामी ज्वैलर्स शॉप में बतौर इलेक्ट्रीशियन जॉब करते थे। उस शॉप लगे सेंसर और अलार्म सिस्टम को देखकर उन्होंने सामान्य दुकानों के लिए ऐसा ही सिस्टम बनाने की ठानी। साथ ही वो ऐसा सिस्टम बनाना चाहते थे कि वह तकनीक सस्ती हो। जिससे सामान्य दुकानदार या कार्यालय से जुड़े लोग अफोर्ड कर सके। उसके बाद होशियार सिंह ने अपनी नौकरी छोड़ कर इस कार्य को अंजाम दिया। तीन बार असफल होने के बाद उन्होंने न केवल ऐसा सिस्टम तैयार कर ही लिया, जो कि बेहद सस्ता व कारगर भी है। वे अब तक अलग-अलग स्थानों पर इस डैमो भी दे चुके हैं। उनके अनुसार इस तकनीक को लेने के लिए कई कंपनियां उनके लगातार संपंर्क बनाए हुए हैं।
पुलिस, फायर-ब्रिगेड को भी मिलेगी सूचना:-
उनके अनुसार जरूरत पडऩे पर इस शटर सिक्योरिटी सिस्टम अलार्म से संबंधित ऑथारिटी को भी सूचित करेगा। इसके लिए पुलिस, फायर-ब्रिगेड या दूसरे प्रकार की संबंधित विभागों को भी जोड़ा जा सकेगा। इसके साथ ही हाई-डेसीबल अलार्म ट्रिगर को जोड़ा गया है, जो कि काफी दूर से सुना जा सकेगा। उस अलार्म का टेक्स्ट मैसेज भी होम ऑनर के रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर आयेगा।